” हमें अपना ही समझो…. ये कभी मत समझना कि शलभ के पापा नहीं हैं….. मैं हूँ न…… एक अट्टाहा ” हमें अपना ही समझो…. ये कभी मत समझना कि शलभ के पापा नहीं हैं….. मैं हूँ न…… एक ...
देखो ना मौसी...क्या बच्ची, क्या युवती.... आज तो सभी अबलाऐं सबला बनने को आतुर है। देखो ना मौसी...क्या बच्ची, क्या युवती.... आज तो सभी अबलाऐं सबला बनने को आतुर है।
ऑफिस के सारे स्टाफ सुधा की बहादुरी की प्रशंसा कर रहे थे। ऑफिस के सारे स्टाफ सुधा की बहादुरी की प्रशंसा कर रहे थे।
उसकें पास सब कुछ हैं,पर आज भी कहीं न कहीं उसके मन में अपने खोए हुए बचपन की एक कसक बाकी उसकें पास सब कुछ हैं,पर आज भी कहीं न कहीं उसके मन में अपने खोए हुए बचपन की एक कस...
तुम्हारा जाना उतना नहीं खला जितना तुम्हारी उन आंखों को देखना। कितना कुछ कह रही थीं वह ब तुम्हारा जाना उतना नहीं खला जितना तुम्हारी उन आंखों को देखना। कितना कुछ कह रही थ...
तुम्हारे साथ दम घुटता है मेरा !! मुझे शालू के साथ रहना है। तुम्हारे साथ दम घुटता है मेरा !! मुझे शालू के साथ रहना है।